हैल्लो दोस्तों, मेरा नाम वीरेन्द्र है मैं अहमदाबाद का रहने वाला हु यही पला बड़ा हुआ हूँ और में शादीशुदा हूँ और मेरी उम्र 25 साल है और मेरी बीवी की उम्र 23 साल है. हमारे साथ मेरे पापा और मेरी माँ रहते है. ये उन दिनों की बात है जब मेरी बीवी का एक्सीडेंट हुआ था. मेरे पापा, मेरी माँ और मेरी बीवी वे तीनों बाहर मंदिर जा रहे थे तो रास्ते में एक गाड़ी ने मेरी माँ और मेरी बीवी को जोरदार टक्कर मारी, जिसमे मेरी बीवी और मेरी माँ को बहुत चोटे लगी थी और मेरे पापा को कुछ नहीं हुआ था. क्योंकि एक्सीडेंट ड्राइवर के सामने की साईड में हुआ था.
जब मुझे इस एक्सीडेंट का पता लगा, उस समय में ऑफिस में था. में तुरंत वहां से हॉस्पिटल पहुंचा तो पता चला कि पापा को कुछ नहीं हुआ था और मेरी माँ को हाथ व पैर में फ्रेक्चर और आखों में चोट की वजह से बहुत दर्द हो रहा था और मेरी बीवी को सिर के ऊपर और आँखो को बहुत चोट लगी हुई थी. मैंने डॉक्टर से बात की तो उन्होंने कहा कि तुम्हारी बीवी यानी आशा को 2 महीने के लिए आँखों पर पट्टी बांधनी पड़ेगी और तुम्हारी माँ को भी 3 महीने के लिए आँखों पर पट्टी बांधनी पड़ेगी. तो मुझे चिंता होने लगी कि अब क्या होगा?
मेरी बीवी को उसी दिन हॉस्पिटल से डिस्चार्ज कर दिया, लेकिन मेरी माँ को 10 दिन हॉस्पिटल में रुकने के लिय कह दिया. में मेरी बीवी को लेकर घर आ गया और पापा माँ के पास हॉस्पिटल में रुक गए. फिर मैंने घर पर आकर मेरी बीवी को समझाया कि तुम अपने पापा के घर चली जाओ. वो बोली कि नहीं, में तुम्हें छोड़ कर कहीं नहीं जाउंगी और वह उसके पापा के घर पर नहीं गयी.
उसके 2 दिन के बाद मेरे ऑफिस में इनकम टेक्स वाले आये तो मुझे ऑफिस में एक रात रुकना पड़ा. मैंने पापा को फ़ोन कर दिया और कह दिया कि आज रात में घर पर नहीं जा सकता. तो पापा ने कहा कि ठीक है, तू चिंता मत कर, में हूँ ना. बस इस रात ने मेरी लाईफ को बर्बाद कर दिया और ये बात मुझे मेरे घर में लगे हुए कैमरे से पता चली.
मैंने मेरे घर में एक कैमरा हॉल में, एक कैमरा मेरे रूम में और एक कैमरा मेरे पापा के रूम में लगवा रखा था और हाँ उनको घर पर लगे कैमरे का पता भी नहीं था क्योंकि जब वो गावं गए हुए थे, तब मैंने यह कैमरे लगवाए थे और फिर हमारी बात भी नहीं हुई थी. हमारे घर में कैमरे बहुत छोटे थे तो दिखाई भी नहीं देते थे. हुआ ये कि मेरे पापा जब घर पहुंचे तो खाना बनाने वाली बाई खाना तैयार करके चली गई थी और मेरे पापा और आशा दोनों घर पर अकेले थे.
मैंने मेरे आज रात घर पर आने की सूचना मेरी बीवी को नहीं दी थी तो मेरी बीवी को पता नहीं था कि में रात में नहीं आऊंगा. फिर पापा खाना खाने के बाद, जब मेरे रूम में गये तो वहां मेरी बीवी नहाकर बाहर आई थी, उसकी आँखो पर पट्टी थी तो उसको लगा कि काम वाली अभी घर पर ही होगी और जब पापा मेरे बारे में बताने गये तो वो अचानक चौंक गये, क्योंकि मेरी बीवी के हाथ में उसकी ब्रा और पेंटी थी जिन्हें मेरे पापा की तरफ करके बोली कि सुन मीना (कामवाली) ये ज़रा धोकर सुखा देना. मेरे पापा कुछ नहीं बोले और उन्होंने कपड़े हाथ में ले लिए जैसे ही उन्होंने बोलने की कोशिश की, उनके पहले ही वो बोल पड़ी.
अब तुम बाहर जाओ. मुझे नाईट ड्रेस पहननी है. क्योंकि वो पुराने कपड़े ही पहनकर आई थी और मेरे पापा ने दरवाजा ऐसे ही बंद किया और वो अंदर ही थे. हाँ, मेरी और मेरे पापा की बॉडी का शेप एक ही था, इसलिए बेचारी आशा को पता नहीं चल पाया था. फिर मेरी बेचारी बीवी को क्या पता था कि अंदर कौन है? तो अब बस मेरी बीवी, उसके पुराने कपड़े उतारने लगी और वो अपने लंड को निकाल कर मुठ मारने लगे और उसकी पेंटी को वो अपने एक हाथ से उनके मुँह पर रख कर सूंघ रहे थे और मेरी बीवी को सामने से देख रहे थे.
फिर मेरे पापा मेरी बीवी के बूब्स देखकर हेरान से हो गये और अब उसने पेंटी को भी खोल दिया. अब वो पूरी नंगी हो चुकी थी. अब जहाँ पर उसके कपड़े थे, वहां पर मेरे पापा खड़े थे और वो मुठ मार रहे थे. अचानक वो कपड़े लेकर पल्टी तो उसके हाथ से उसका गाऊन छूट गया तो वो उसे लेने के लिए नीचे झुकी तो मेरे पापा भी साथ में झुके और मेरी बीवी की रसीली गुलाबी चूत के पास मुँह ले जाकर उसकी चूत सूंघ रहे थे. फिर उनके लंड ने वीर्य निकाल दिया और वीर्य इतना निकला कि साला पूरा हाथ भर गया और फिर मेरी बीवी ने दरवाजा खोला और उसके पीछे-पीछे पापा भी बाहर निकल गये. फिर आशा ने मीना को आवाज़ दी. लेकिन वो तो चली गई थी.
फिर उसने मुझे कॉल किया. लेकिन मेरा फोन स्विच ऑफ था तो वो बोली कि अब में क्या करूँ? सो जाउंगी तो पापा आयेंगे. तो फिर उसने पापा को कॉल किया तो पापा उनके रूम में चले गये और फोन उठाया और बोले तो आशा बोली पापा आप कब आओगे. तो पापा ने जवाब दिया कि बेटी में आज नहीं आऊंगा, मुझे हॉस्पिटल रुकना पड़ेगा.
वो बोली ठीक है और फिर फ़ोन रख दिया और बोली कि चलो अब चिंता नहीं है. क्योंकि एक चाबी वीरेन्द्र के पास है ना तो वो दरवाजा खोलकर आ जायेंगे और खाना भी तैयार ही है, खाना खाकर रूम में आकर सो जायेंगे. फिर वो रूम में चली गई और पापा का भी लंड अब वापस खड़ा हो गया था क्योंकि अब उन्होंने एक परी की चूत देख ली थी और चूत भी बहुत टाईट है.
क्योंकि मेरा 7 इंच का लंड जब चूत के अंदर जाता है तो मुझे चूत बहुत टाईट लगती है और मेरे पापा का लंड मैंने कैमरे में देखा, तो मेरे होश उड़ गये. उनका लंड 9 इंच का था और अब उनको 1 घंटा बीत चुका था. फिर वो उनके बिस्तर से उठे और मेरे रूम की और गये. उन्होंने जैसे ही दरवाजा खोला तो मेरी बीवी सो रही थी और पापा बेड पर जाकर सो गये.
फिर पापा ने मेरी बीवी के होठों को सूँघा, फिर वापस चूत तक नाक ले जाकर सूँघा तो मेरी बीवी पल्टी, तो वो डर गयी और फिर हंस कर बोली हे राम, वीरेन्द्र में तो डर गयी थी. तुम थक चुके होंगे तो अब सो जाओं, चलो में आज तुम्हारे हाथ और पैरो को दबा देती हूँ. तो पापा ने हाँ बोल कर जवाब दिया. क्योंकि मेरी आवाज़ और पापा की आवाज़ एक जैसी ही लग रही थी. पापा बिस्तर पर सो गये.
मेरी बीवी हाथ दबा रही थी लेकिन उसको पता ही नहीं चल पाया कि ये कौन है. फिर थोड़ी देर के बाद जब उसने पैर दबाने के लिए हाथ नीचे सरकाया तो लंड के ऊपर हाथ गया और पापा का लंड उठ गया. अब आज मेरी बीवी की चुदाई पक्की थी और पापा उसकी चूत को भी चोद-चोद कर अंधी करने वाले थे.
फिर थोड़ी देर के बाद उसने दूसरी साईड के पैर को दबाना चालू किया, लेकिन उनको तकलीफ़ हो रही थी तो उसने एक पैर ऊँचा करके वो पापा के पैर के ऊपर आ गई थी और हाँ उसने नीचे काले कलर की पेंटी पहनी थी. क्या मस्त माल लग रही थी और आज लंगूर के हाथ अंगूर आ गया था. फिर वो थोड़ी देर के बाद वापस बोली कि अभी आपका दूसरा हाथ भी बाकी है, ऐसा बोलकर अब वो पापा के पैर से उठकर पापा के लंड तक ऊपर आकर बैठ गयी, जिससे उनका लंड तुरंत ही ऊपर हो गया.
वो बोली कि ये क्या? इतनी गर्म क्या चीज़ है और पापा का पसीना छूट रहा था. फिर वो हंसने लगी और पापा के गाल पर चुटकी भरी, फिर वो बोली कि आज में आपको कुछ नहीं करने देने वाली हूँ बस. वो बोल कर पापा के हाथ दबाने लगी और पापा के लंड पर ऊपर नीचे होने से पापा का लंड एकदम खड़ा हो गया. फिर पापा ने एक हाथ से उनके पजामे का नाडा खोलकर पैर से खींचकर निकाल दिया, अब पापा के हाथ मेरी बीवी की जाँघ पर सहला रहे थे, फिर उसके ऊपर नीचे होने की वजह से लंड पर बहुत गर्मी चढ़ रही थी.
फिर जब मेरी बीवी को पता चला कि उनका लंड बाहर निकल आया है तो वो रुक गयी और बैठ गई. तो उन्होंने चड्डी को भी धक्का लगाकर खोल दिया, जिससे लंड का सुपाड़ा अन्दर चला गया और फिर झटके के साथ ही वो खड़ी हो गई और बोली कि आज तो नहीं. आज में एम.सी में होने वाली हूँ. लेकिन वो नखरे कर रही थी. अब वो साईड में जाकर सो गई.
फिर पापा उसके ऊपर आ गये और उसके होठों पर जोरदार किस करने लगे, फिर एक हाथ उसके गाऊन के अंदर चला गया और एक हाथ उसकी चड्डी के ऊपर लगा दिया, फिर वो अपने हाथों से ज़ोर-ज़ोर से सहलाने लगे और मेरी बीवी भी उनका साथ देने लगी. वो बेचारी एक औरत होने से अपने आप को रोक नहीं पाई और बोली कि आज में तुम्हारा लंड मुँह में लूँ, ऐसा बोलकर उसने लंड को हाथ में लिया तो वो सोचने लगी कि ये क्या इतना बड़ा और इतना मोटा? तो फिर वो कुछ नहीं कर पाई, तब पापा ने लंड को हाथ में लिया और लंड उसके मुँह के अंदर डाल दिया.
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फिर मेरी बीवी को पता चल गया था कि ये वीरेन्द्र नहीं है, बल्कि कोई और ही है. फिर वो उनसे डर रही थी कि अब मुझे चुप ही रहना पड़ेगा क्योंकि उनको भी मेरा डर था और उसने उनका साथ देना धीरे- धीरे बंद कर दिया और कंबल को लेकर लेट गई और बोली कि मुझे नींद आ रही है, अब हम कल करेंगे और फिर पापा तो उसके ऊपर वापस आ गये और ज़ोर-ज़ोर से ज़बरदस्ती किस और बूब्स चूसने लगे.
फिर उन्होंने आशा की चड्डी ज़ोर से ऊतार दी और मेरी बीवी ऐसे ही डर की वजह से चुपचाप लेटी हुई थी. फिर वापस लंड आशा के मुँह में डाल दिया तो आशा के मुँह से आह्ह्ह्ह की आवाजे निकलने लगी और ज़ोर-ज़ोर से चुसवाने लगे. फिर कुछ देर के बाद उनका लंड चूत पर रगड़ने लगे. ना चाहते हुए भी आशा की चूत से पानी निकल गया.
फिर पापा ने उसकी चूत पर मुँह लगाया और गीली चूत को चूस-चूस कर सूखा कर दिया और मेरी बीवी ने ठान ली कि में अब नहीं झड़ूगी. लेकिन पापा ने इतनी ज़ोर-ज़ोर से बूब्स दबायें और चूत को इतना चूसा कि मेरी बीवी को रोकना मुश्किल हो गया और पापा उठ गये तो मेरी बीवी शांत हो गई और वो अभी पानी निकालने से बच गये थे.
तो फिर पापा ऊपर आए और उसके होठों को ज़बरदस्ती चूसने लगे और दोनों हाथ बूब्स के ऊपर रखकर उनको ज़ोर-ज़ोर से दबाना और चूसना चालू कर दिया, जिससे उसकी चूत कंट्रोल से बाहर हो चुकी थी और वो इतनी ज़ोर से ऊँची हुई कि पापा का लंड उसकी चूत में घुस गया और उसकी चूत पानी से गीली हो गई थी और फिर वापस सो गये और लंड निकल गया. फिर पापा वापस नीचे गये और पूरा पानी चूस लिया और चूत को साफ करके सुखा दी.
फिर किस करते रहे और बूब्स दबाते रहे और अचानक लंड का सुपाड़ा अंदर चला गया.
उनका लंड इतना मोटा लंड था कि चूत पूरी लंड से चिपक गयी थी. जैसे ही लंड बाहर निकला तो चूत भी उसके साथ ऊपर हुई. क्योंकि उसकी चूत छोटी थी और लंड बड़ा था, फिर वापस अंदर डाला और फिर थोड़ा धक्का मारा और आधा अंदर चला गया. मेरी बीवी वापस गर्म हो गई थी और हाँ, वो भी पहली बार में 3 बार झड़ चुकी थी और चूत में से पानी बाहर आ ही नहीं पा रहा था, क्योंकि पानी निकलने की जगह ही नहीं थी. लेकिन चूत में पानी भरा होने से फच-फच की आवाज़ आ रही थी. मेरे पापा अपनी बहु को Ahmedabad Escorts समझ कर chod रहे थे.
फिर वो ना चाहते हुए भी उसके हाथ उनके सिर पर और पैर पलंग पर फेर रही थी और अचानक उन्होंने इतना ज़ोर से धक्का लगाया कि लंड चूत को चीरता हुआ पूरा अंदर चला गया और वो भी थोड़ी देर में वापस पैर लपेट कर चिपक गयी और कम से कम 1 घंटा चुदाई की और पानी निकलने का नाम ही नहीं ले पा रहा था. साला लंड भी गधे से बड़ा था.
फिर वो थक गये और पानी निकल गया और शांत हो कर सो गये. जब में सुबह घर आया तो मेरी बीवी जल्दी नहा धोकर फ्रेश हो गई थी और पापा उनके रूम में सो रहे थे. फिर मैंने बेड के पास जाकर देखा तो पता चला कि इतना ज़्यादा खून कैसे तो में कुछ नहीं बोला और मैंने सीधे कैमरे से कॉपी वीडियो देखी तो होश उड़ गये और मैंने मेरी बीवी को पता नहीं चलने दिया कि मुझे मालूम है और मेरी बीवी ने भी मुझे नहीं बताया कि रात में कौन आया था. अब में मेरी बीवी को कभी भी अकेली नहीं छोड़ता हूँ.